Identification of good goat and its selection for farming – अच्छी बकरी की पहचान, फार्मिंग के लिए अच्छी बकरी को कैसे चुने
बकरी फार्मिंग में अच्छी नस्ल की बकरियां (good quality goats) और उन अच्छी नस्लों में भी सही कद काठी की बकरियों का चयन बहुत महत्वपूर्ण है क्यूंकि बुनयादी स्टॉक (basic foundation stock) का स्वस्थ और हष्ट पुष्ट होना अत्यंत आवश्यक होता है| भारत में कोई भी बकरी अपनी अनुवांशिकता के प्रमाण पत्र (pedigree certificate) के हिसाब से नहीं बिकती जैसा की अंग्रेज़ी गाय में होता है| फार्मिंग के लिए बकरियों को अधिकतर खुले बाज़ारों (open markets) से लेना पड़ता है ऐसे में बकरी खरीदने का कुछ अनुभव आवश्यक होता है| उस अनुभव के लिए यहाँ हम कुछ बिन्दुओं पर प्रकाश डालेंगे और चित्रों के माध्यम से अच्छी बकरी को पहचानने का तरीका बताएँगे|
बकरी को मुख्यतः मास के लिए पाला जाता है (goats are mainly reared for meat) और जितनी अधिक कीमत में बकरी के बच्चे बिक जाते हैं उतनी अधिक कीमत में बकरी नहीं बिकती उसका कारण यह होता है कि उनमें मांस की गुणवत्ता अच्छी होती है| इसीलिए बच्चे जल्दी से जल्दी मार्केट में बिकने वाले वज़न के हिसाब से तैयार हो जाने चाहिए| ऐसा तभी होता है जब बच्चों की बढ़वार सही ढंग से हुई हो| अच्छी बढ़वार के लिए अच्छा पोषण देना आवश्यक होता है जो बच्चों को बकरी के दूध से मिलता है| इसलिए अच्छा दूध उत्पादन करने वाली बकरियों के बच्चे अच्छी वृद्धि दर से बढ़ते हैं और कम समय में ही तैयार हो जाते हैं| अच्छे दूध उत्पादन वाली बकरी का चयन बकरी फार्मिंग में एक मुख्य भूमिका निभाता है| कई लोग मांस उत्पादन को ध्यान में रखकर इस महत्वपूर्ण पहलू को भूल जाते हैं जिससे पूरे फार्म की साख दांव पर लग जाती है| अच्छे दूध उत्पादन का एक और उपयोग हो सकता है वह है मार्किट में बेचना क्योंकि अब बकरी के दूध का मार्केट भी धीरे-धीरे रफ्तार पकड़ रहा है और बड़े शहरों में कांच की बोतलों में बकरी का दूध बिकने लगा है|
भेड़ और बकरी उत्पादन से होने वाले लाभ
- बेचने के लिए भेड़ और बकरिया (goats and sheep for sale)
- उनके बच्चे (their kids)
- दूध (milk)
- माँस (meat)
- ऊन (wool and hairs)
- प्रजनन के लिए (for breeding)
- फस्लो के लिए उर्वरक (fertilizers for crops)
अच्छी बकरी की पहचान (identification of good goat)
- Goat should have good size and body condition
- Level rump
- Wide, long and deep loin
- Well-muscled legs
- Deep body
- Feet and legs set squarely under the body of the animal
- Adequate bone (not frail)
- Long trim neck
- Smooth shoulders
- Strong, straight pasterns
आदर्श बकरी (Ideal Goat)
जैसा की चित्र में दर्शाया गया है की सबसे उत्तम बकरी वह होती है जिसका पिछले पैर का घुटना, पुटठा और खुर-एड़ी एक सीध में होते हैं.
A good breeding goat is that which have knee, rump, hoof and pastern in straight line as shown in figures.
बकरी के आगे के पैर सीधे और एक समान होने चाहिए मुड़े हुए घुटने या एड़ी चरने और विचरण करने में बढ़ा पैदा करते हैं और उत्पादन घटता है.
Front legs of goat should be straight in one line jerked or bend knees or pasterns may cause difficulty in walking which may hamper grazing and reduces production
पीछे से देखने पर आदर्श बकरी वो होती है जिसके दोनो पैर पुटठो से सीधे नीचे आते हैं.
Ideal goat is that in which back legs would directly come under rump straightly.
मुड़े हुए पैर खनिज की कमी की वजह से होते है ख़ासकर कॅल्षियम और फॉस्फरस की कमी से देखने को मिलते है. ऐसी बकरियाँ बच्चो को जन्म देते समय दिक्कत कर सकती हैं.
Bend legs are mainly due to mineral deficiencies mainly due to calcium and phosphorus. These types of goats may cause problems during delivery.
बकरी के आगे के पैर भी सीधे और सुडोल होने चाहिए जैसा की पहले चित्र में दर्शाया गया है. आगे से मुड़े हुए पैर चलने में दिक्कत करते हैं और चरने वाली बकरियो में उत्पादन घटाते हैं.
Front leg should also be straight as shown in figure
बीमार बकरी की पहचान (identification of diseased goats)
- Head down or drooping head
- Messy behind, back of goat remain dirty due to loose feces
- Tail is dropped down
- Limping
- Untrimmed hoofs (long hoofs)
- Swollen joints
- Rough coat
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